Indication: Beneficent in Joint pain, pandu, acidity, hysteria, paralysis and heart & mind.
Dose: 1-1 Tablet twice a day or as directed by the Physician.
Available in: 5, 10 & 25 Tabs.
चिन्तामणी चतुर्मुख रस (स्व0. यु.)
गुणधर्म: रस सिन्दूर एवं स्वर्ण भस्म मिश्रित यह योगवाही रसायन सभी प्रकार के वात रोगों को दूर करता है। इसका उपयोग हिस्टीरिया, भ्रम, मूर्छा, उन्माद, लकवा, अर्दित (मुँह का टेढ़ा होना) दिमाग की कमजोरी आदि विकारों में अच्छा गुणकारी है। पाण्डु एवं अम्ल पित्त में भी इसका प्रयोग लाभदायक है।
मात्रा: 1-1 टेबलेट दिन में दो बार या चिकित्सक के परामर्शानुसार।
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